Sunday, September 7, 2014
कही छुपी होगी मेरी चाहत की रौशनी तेरे दिल में
बेवजह कोई दिल बेक़रार नहीं करता
सब समझते है यहाँ दीवाना मुझको
पर तुझसे कोई सवाल क्यों नहीं करता…
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment