Saturday, June 27, 2015
मन में छुपे राज़ बताऊँ कैसे
,
तुम्हे अपने करीब लाऊं कैसे
;
दिल के अरमान दिल में न रह जाएँ कहीं
,
चाहत तुझ पर अपनी जताऊं कैसे
|
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment