Thursday, September 24, 2015

"किताबों के पन्नो को पलट के सोचता हूँ,
यूँ पलट जाए मेरी ज़िंदगी तो क्या बात है.
ख्वाबों मे रोज मिलता है जो, 
हक़ीकत में आए तो क्या बात है."

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