Monday, December 28, 2015
जब आसमां में चमकते तारे थे
तब हम भी किसी के सहारे थे
वो लम्हे भी सबको प्यारे थे
जो मिल के संग में गुज़ारे थे
अचानक से तारा जो टूट गया
हर अपना हरमन से रूठ गया
दिन ढला और सूरज डूब गया
वक़्त हसीन वो पीछे छूट गया
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