Thursday, July 31, 2014

ना शिकवा किसी का ,ना फरियाद किसी की 
होनी थी यूँ ही जिंदगी, बर्बाद किसी की ...
अहसास मिटा,तलाश मिटी, मिट गई उम्मीदें .....
सब मिट गया पर न मिट सकी याद किसी की ...!

No comments:

Post a Comment