Friday, September 25, 2015

बस दो बूंदों में जिन्दगी भर की प्यास बुझ जाती
गर दो आसूं ही तुमने मेरे होंठो पे गिराए होते,

मेरी बेबसी ने हर कसम तोड़ दी मेरी
काश कुछ वादे तुमने ही निभाए होते,

गर मालुम होता टूट जायेगा हर ख्वाब मेरा
कभी कोई सपने ना इन पलकों पे सजाए होते,

तेरी जुल्फों में सोने के हंसी अरमान संजू
तेरी आँखों की शम्मा में ना यूँ हमने जलाये होते..

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