Tuesday, January 10, 2023

ऐ चाँद! है तुमसे व्याकुल_मन की सदा़।
मुझे बताओ न चाँद, मेरा चाँद है कहाँ ?
 
रात है भी रंगीन है और है दिलकश समां।
ऐसे मैं ऐ चाँद,मेरा चाँद है खोया कहाँ?

झिलमिल तारे हैं चाँदनी से रोशन आसमाँ।
मैं ढ़ूँढ़ रहा हूँ मेरे चाँद को जाने कहाँ-कहाँ?
~~~~ सुनिल #शांडिल्य 

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